एक ऐसा टनल जिसे भूतिया टनल कहा जाता हैं। barog railway station himachal pradesh मे हैं।
हिमाचल प्रदेश की खूबसूरत वादियों में बसा Shimla Hill स्टेशन का शहर है। बर्फीलें पहाड़ वाले इस शहर में देश-विदेश के लोगों को घूमने आते हैं। शिमला जैसे खूबसूरत शहर में ऐसी जगह भी है जहां अकेले जाना काफी डरावना है।कालका से शिमला जाने वाले ट्रेन मार्गों में कई टनल आते है लेकिन उन सब में यह टनल बहुत ही डरावना और खौफनाक है l शिमला में Barog railway station के पास एक shimla tunnel number 33 है। इस टनल को ही Shimla Tunnel 33 और भूतिया टनल भी कहते हैं l शिमला टनल नंबर 33 दुनिया की सबसे सीधी टनल है, जिसे पार करने में ट्रेन लेती ढाई मिनट है। tunnel number 33 shimla
जानिए :-लाशों को डायमंड में बदल देता है यह शख़्स
Shimla Tunnel No. 33 में आज भी है आत्मा का वास :-
कालका से शिमला तक जाने वाले रेल रूट पर वैसे तो बहुत सारी टनल पड़ती हैं, लेकिन उनमें सबसे डरावनी और खौफनाक है टनल नंबर 33 हैं।
टनल का नाम है दि बरोग टनल, जिसे टनल न. 33 (Shimla Tunnel No 33) भी कहते हैं। 1143.61मीटरलंबी यह टनल कालका शिमला मार्ग पर बरोग रेलवे स्टेशन के पास स्थित है। इसका निर्माण 20वीं सदी में हुआ था और यह दुनिया की सबसे सीधी टनल है। इस टनल को पार करने में ट्रेन ढाई मिनट लेती है।
क्या हैं Shimla Tunnel No. 33 की कहानी :-
कर्नल के काम में थोड़ा बहुत डेविएशन आ गया। सुरंग खोदते वक्त ऐसे डेविएशन आना वैसे आम बात है, लेकिन ब्रिटिश सरकार को यह ठीक नहीं लगा। सरकार ने पैसे की बर्बादी करने का कर्नल पर जुर्माना लगा दिया। मजदूरों ने भी बहुत खरी खोटी सुनायी क्योंकि उनकी मेहतन बेकार चली गई थी। इंजीनियर इस बात को लेकर बेहद परेशान हो गया और एक दिन अपने कुत्ते को लेकर सुबह टहलने निकला और खुद को गोली मार ली। haunted tunnel of shimla
जिस जगह पर इंजीनियर ने खुद को गोली मारी थी उस जगह पर आज बरोग पाइन वुड होटल है। खून से सना इंजीनियर का शव घंटों तक वहीं पड़ा रहा। जिस वक्त इंजीनियर ने खुद को गोली मारी थी, उस वक्त वहां कोई नहीं था। इस आत्महत्या का प्रत्यक्षदर्शी सिर्फ कुत्ता था। क्योंकि गांव वालों को वहां तक पहुंचने में वक़्त लग गया था। बरोग को आधी बानी हुयी इस टनल के सामने ही दफना दिया था l
इंजीनियर की मौत के बाद 1900 में टनल पर फिर से काम शुरू हुआ और 1903 में टनल पूरी तरह तैयार हो गई। ब्रिटिस सरकार ने टनल का नाम इंजीनियर के नाम से ही रखा बारोग टनल। इस टनल को पूरा करने का काम H S हर्लिंगटन ने किया। उनकी मदद वहा के स्थानीय संत बाबा भालकू ने भी की। इस टनल के निर्माण में लगभग 8.4 लाख रुपए का खर्च आया था। victory tunnel shimla
Shimla Tunnel No. 33 में होती रहती हैं अप्रिय घटनाएं :-
हालांकि वास्तव में यह टनल बेहद खौफनाक है भी। अगर टनल के अंदर लगी सारी लाइटें बुझा दी जायें, तो अंदर बेहद डरावना मंजर होता है। अंदर पहाड़ का पानी रिसता रहता है। इस टनल के अंदर कुछ दूर चलने पर आपको एक सुरंग मिलेगी, जहां से अजीबो-गरीब आवाजें आती हैं। सरकार ने उस सुरंग को बंद करने के लिये लोहे का दरवाजा भी लगाया, लेकिन एक दिन लोगों को दरवाजे का ताला टूटा मिला। तब से लेकर आज तक उसमें ताला नहीं डाला गया। tunnel no 33 shimla haunted storyकोई भी barog railway station जाकर आज भी इन खौफनाक आवाजों को सुन सकता है। tunnel no 33 shimla
इनके बारे में भी जाने:-
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